आखिर क्या है राईट टू रिकॉल?
राईट टू रिकॉल ~
.
मुझे आपकी दुकान /फैक्टरी /ऑफिस पर नौकरी पर रखिए पाँच साल के लिए ~
.
शर्ते :-
1. पाँच साल तक आप मुझे नौकरी से नहीं निकाल सकते |
2. सारे कायदे कानून मैं तय करूंगा |
3. मेरी सेलेरी भत्ते जब चाहूँगा बढ़ा सकता हूँ |
4. आपको व सबको मेरे बनाये कानून के दायरे में रहना होगा |
5. मुझसे कोई शिकायत हो तो जॉच कमेटी से कर सकते हैं जो मेरे द्वारा चुने हुए लोगों की कमेटी होगी |
6. किसी भी विषय में अंतिम फैसला मेरा ही होगा |
7. मेरी इच्छा होगी तो ही मैं आपको जवाब दूगां / नहीं दूगां |
.
क्या आप नौकरी पर रखने को तैयार हैं ?
.
देश में मंत्री, मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री इसी पद्धति से चल रहे हैं | क्या इन पर नौकरी खोने की तलवार लटकवाना गलत हैं ?
अगर गलत हैं तो मैं ऐसे कानून का समर्थन करता हूँ | जिसमे नौकरी से निकालने की ताकत जनता में हो |.
.
अधिक जानकारी के लिए देखें- www.righttorecall.info , www.https://www.facebook.com/righttorecallC/?fref=ts ,
http://3linelaw.wordpress.com/ , http://prajaadhinbharat.wordpress.com/
.
मुझे आपकी दुकान /फैक्टरी /ऑफिस पर नौकरी पर रखिए पाँच साल के लिए ~
.
शर्ते :-
1. पाँच साल तक आप मुझे नौकरी से नहीं निकाल सकते |
2. सारे कायदे कानून मैं तय करूंगा |
3. मेरी सेलेरी भत्ते जब चाहूँगा बढ़ा सकता हूँ |
4. आपको व सबको मेरे बनाये कानून के दायरे में रहना होगा |
5. मुझसे कोई शिकायत हो तो जॉच कमेटी से कर सकते हैं जो मेरे द्वारा चुने हुए लोगों की कमेटी होगी |
6. किसी भी विषय में अंतिम फैसला मेरा ही होगा |
7. मेरी इच्छा होगी तो ही मैं आपको जवाब दूगां / नहीं दूगां |
.
क्या आप नौकरी पर रखने को तैयार हैं ?
.
देश में मंत्री, मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री इसी पद्धति से चल रहे हैं | क्या इन पर नौकरी खोने की तलवार लटकवाना गलत हैं ?
अगर गलत हैं तो मैं ऐसे कानून का समर्थन करता हूँ | जिसमे नौकरी से निकालने की ताकत जनता में हो |.
.
अधिक जानकारी के लिए देखें- www.righttorecall.info , www.https://www.facebook.com/righttorecallC/?fref=ts ,
http://3linelaw.wordpress.com/ , http://prajaadhinbharat.wordpress.com/
Comments
Post a Comment
कानूनों से फर्क पङता है. किसी देश की अर्थव्यवस्था कैसी है जानना हो तो पता लगाओ की उस देश की न्याय प्रणाली कैसी है. देश में आर्थिक सामाजिक विकास तब तक नहीं हो सकता जब तक कि आतंरिक सुरक्षा व्यवस्था कड़ी न हो.
राजनैतिक, आर्थिक, सामरिक-क्षमता में, अगर कोई देश अन्य देशों पर निर्भर रहता है तो उस देश का धर्म, न्याय, संस्कृति, विज्ञान व प्रौद्योगिकी, अनुसंधान व जनता तथा प्राकृतिक संसाधन कुछ भी सुरक्षित नहीं रह जाता.
वही राष्ट्र सेक्युलर होता है, जो अन्य देशों पर हर हाल में निर्भर हो.